Karma Siddhant + Shreemad Bhagwad Geeta + Swadhyay + Aatmjagruti Ke Rahsya | Hindi Language | By Brahmarshi Pitamaha Dr. Patriji

Karma Siddhant + Shreemad Bhagwad Geeta + Swadhyay + Aatmjagruti Ke Rahsya | Hindi Language | By Brahmarshi Pitamaha Dr. Patriji

Package will contain a 4 books:

Book1 - Karma Siddhant (Hindi Language) | By Brahmarshi Pitamaha Dr.Patriji

Book Details:
Book Title: Karma Siddhant (Hindi Language)
Language:
 Hindi
Author: Brahmarshi Pitamaha Dr.Patriji
Type: Paperback
Pages: 150 

आध्यत्मिकता में " कर्म योग " या " कर्म सिद्धांत " यह एक ऐसा जटिल विषय है जो अनेक लोगों को कठिन तथा उलझा देनेवाला प्रतीत होता है जिसे ब्रह्मर्षि पितामह पत्रीजी ने अपने उन्नत महाज्ञान से उसे अत्यंत सरल और सुंदर रूप में हमें उपलब्ध कराया है । कर्म होता क्या है ? उसके अनेक रूप कोनसे है ? क्या कर्म को हम इसी जन्म में पूर्ण कर मुक्त हो सकते है ? कर्म के नियम किसे और किस तरह लागु होते है ? क्या हम कर्मचक्र से बाहर आ सकते है ? इत्यादि हमारे प्रतिदिन मन में आनेवाले प्रश्न जिसे हम अपने कर्मों को जानने की कोशिश करते है परंतु समझ नहीं पा रहे है ऐसे कर्मो की दशाएँ हमें रोचक उदाहरण के माध्यम से इस पुस्तक में बताई गई है जो आपका कर्म बदल देगी और सत्य की राह पर चलने के लिए आपको प्रेरित करेगी ।

Book2 - Shreemad Bhagwad Geeta (Hindi Language) | By Brahmarshi Pitamaha Dr.Patriji

Book Details:
Book Title: Shreemad Bhagwad Geeta (Hindi Language)
Language:
 Hindi
Author: Brahmarshi Pitamaha Dr.Patriji
Type: Paperback
Price: 299

इस "श्रीमद् भगवद्गीता" में हमें नित्य जीवन में किस प्रकार का ज्ञान आवश्यक है ? उस ज्ञान की प्राप्ति के लिए हमें किस प्रकार की साधना करनी चाहिए ? निमित्तमात्र रहते हुए कर्मबन्धनों में न उलझकर कर्तव्य-कर्माचरण कैसे हो ? धर्म क्या है ? सत्य क्या है ? सत्य में जीना है तो किस प्रकार के कर्म करना चाहिए ? किस प्रकार के ज्ञान का समुपार्जन करना चाहिए ?... इत्यादि अनेकानेक मौलिक विषयों के सम्बन्ध में भगवद्गीता के विविध अध्यायों में बताए गए अनेक श्लोकों से एक या दो श्लोक लेकर विस्तार से ब्रह्मर्षि पितामह पत्रीजी ने अत्यंत सरल शब्दों में इस ज्ञान को हमें बताया है जिससे उनका मुख्य उद्देश्य हर मानव को ध्यान की समझ देते हुए हमें श्रीकृष्ण ज्ञान को सखोल रूप से मिलाना है ।

Book3 -  (Swadhyay)| Hindi Language | By Brahmarshi Pitamaha Dr. Patriji

Book Details:
Book Title: स्वाध्याय (Hindi Language)
Language:
 Hindi
Author: Brahmarshi Pitamaha Dr.Patriji
Type: Paperback
Price: 220

" स्वाध्याय " जिसे ब्रह्मर्षि पितामह पत्री जी ने आत्मिक स्तर पर हमें करना सिखाया है । आध्यात्मिक किताबें पढ़ने के लिए सदैव प्रेरित किया है । इसलिए पत्री जी के विविध आध्यात्मिक संकल्पनाओं को मिलाकर उसे " स्वाध्याय " के रूप से प्रकाशित कर रहे है । जहाँ आपको ध्यान विज्ञान ज्योति , अप्पो दीपो भव:, ध्यानानुभव तथा भक्ति ही मुक्ति इत्यादि अत्यंत सुंदर और सरल संकल्पनाओं को आप जब पढ़ेंगे तब आपको विविध प्रकार के शब्दों का सही रूप से गहराई में अर्थ समझ सकेंगे । पत्री जी की सरलता जो कठिन से कठिन विषयों को भी हमारे लिए आसान बना देती है । अपनी आध्यात्मिक समझ बढ़ायें और अपने सभी प्रश्नों के उत्तरों को स्वयं ढूंढने का मार्ग ' ध्यान ' कैसे बन सकता है इसे जानिए ।

Book4 - Aatmjagruti Ke Rahasy (Hindi Language)

Book Details:
Book Title: Aatmjagruti Ke Rahasy(Hindi Language)
Language:
 Hindi
Author: Brahmarshi Pitamaha Dr.Patriji
Type: Paperback
Price: 270

यह किताब आपकी सोच बदल देगी जहाँ ब्रह्मर्षि पितामह पत्रीजी ने हमारे आंतरिक भूमिकाओ को निभाने की शक्ति के बारें में हमें अधिक गहराइयों में ले जाकर वैज्ञानिक दृष्टि से आध्यात्मिकता को हमारे सामने लाया हैं। किस प्रकार हम अपनी सोच को शुद्ध कर जो सोचते है उसे कैसे प्राप्त कर सकते है यह ज्ञान प्रदान किया हैं। तथा किसप्रकार हमारी वाणी महत्त्वपूर्ण भूमिका निभाती है और कैसी वाणी होने से हम लोकप्रिय तथा अपनी आत्मा की शुद्धता को बनाये रख सकते हैं। हमारे भौतिक तथा आध्यात्मिक जागृती का रहस्य हमारे इस किताब के द्वारा उजागर किया है जो आपके जीवन को नयी दिशा दिखायेगा।

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